नई दिल्ली,(ARLive news)। निचली अदालतों में सालों साल से लंबित मामलों की तेजी से सुनवाई की मांग को लेकर विचाराधीन कैदियों की तरफ से भेजे गए एक खत को दिल्ली हाईकोर्ट ने जनहित याचिका में तब्दील कर दिया है। दिल्ली हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस राजेंद्र मेनन और जस्टिस एजे भंबानी की बेंच ने दिल्ली सरकार को इस मामले में नोटिस जारी करके जवाब मांगा है। हाईकोर्ट ने दिल्ली सरकार को निर्देश दिया है कि 13 अगस्त तक वो इस पर अपना जवाब दाखिल करे।
दिल्ली हाईकोर्ट को कुछ वक्त पहले पांच विचाराधीन कैदियों की तरफ से एक खत मिला। इस खत में विचाराधीन कैदियों ने अपनी शिकायत में बताया कि लंबे वक्त से उन्हें गिरफ्तार करने के बाद उनके केस में कई बरस बीतने के बाद भी कुछ नहीं हो पाया है। भेजे गए खत पर संज्ञान लेते हुए अब हाइकोर्ट ने इस खत पर सुनवाई की जरुरत समझते हुए इसे जनहित याचिका में तब्दील कर दिया है।