
जयपुर,(ARLive news )। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि कोरोना संक्रमण के खतरे को कम से कम करने के लिए 31 मई के बाद भी प्रदेशभर में रात्रिकालीन कर्फ्यू जारी रखा जाए। इसमें किसी तरह की शिथिलता नहीं हो। उन्होंने कहा कि कंटेनमेंट क्षेत्र का पुनःनिर्धारण एक्टिव केसेज की संख्या के अनुसार किया जाए, ताकि केवल संक्रमित क्षेत्र में ही कर्फ्यू जारी रखा जाए।
मुख्यमंत्री गहलोत शुक्रवार को अपने निवास पर कोरोना संक्रमण को लेकर आयोजित उच्च स्तरीय बैठक में समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हैल्थ प्रोटोकॉल की पालना सख्ती से हो। इसमें कोई भी अपना अहम आडे़ नहीं आने दे, चाहे वह वीआईपी ही क्यों न हो। उन्होंने अपील की है कि सभी प्रदेशवासी बार-बार हाथ धोते रहें, मास्क पहनें और सामाजिक दूरी के नियम की पूरी पालना करें। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रशासन हैल्थ प्रोटोकॉल की सख्ती से पालना के लिए कैमरों सहित अन्य माध्यमों से प्रभावी निगरानी करे।
अशोक गहलोत ने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन सहित कई विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि जुलाई-अगस्त माह में कोरोना का दूसरा दौर अधिक संकट पैदा कर सकता है। ऐसे में कोविड-19 महामारी की इस चुनौती को एक अवसर के रूप में बदलते हुए प्रदेश में जिला अस्पतालों से लेकर सब सेंटर तक मजबूत हैल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर तैयार किया जाए, ताकि गांव के लोगों को छोटी-छोटी बीमारियों के इलाज के लिए शहर तक नहीं आना पडे़। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड-19 के इस दौर में बच्चों के टीकाकरण अभियान में किसी तरह की कमी नहीं रहे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना पॉजिटिव मरीजों को निशुल्क इलाज उपलब्ध कराने के लिए निजी अस्पताल मानवीय दृष्टिकोण अपनाते हुए अपनी नैतिक जिम्मेदारी निभाएं। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि सर्वोच्च न्यायालय की भावना के अनुरूप निजी अस्पतालों में कोरोना के निशुल्क इलाज के लिए एक एडवाइजरी जारी की जाए, जो भी अस्पताल इसका उल्लंघन करे उसके विरूद्ध कार्रवाई का प्रावधान हो।
श्री गहलोत ने कहा कि बदली परिस्थतियों के अनुरूप अनावश्यक खर्चों का विश्लेषण कराया जाना चाहिए, ताकि उससे बचने वाली धनराशि को जरूरी एवं वृहद् जनउपयोगी कार्यों में काम लिया जा सके। उन्होंने निर्देश दिए कि इसके लिए वित्तीय मामलों के जानकार सेवानिवृत्त अधिकारियों से भी सुझाव लें। उन्होंने कहा कि स्वयंसेवी संस्थाओं के सहयोग से परिंडा बांधने का अभियान चलाया जाए ताकि गर्मी में पक्षियों को दाना-पानी मिल सके।
प्रमुख शासन सचिव सूचना प्रौद्योगिकी श्री अभय कुमार ने बताया कि प्रदेश में श्रमिकों को सुगमता से रोजगार मिल सके एवं उद्योगों के लिए श्रमिकों की उपलब्धता सुनिश्चित हो सके, इसके लिए प्रदेश में सोमवार से ‘‘राज कौशल राजस्थान एम्पलॉयमेंट एक्सचेंज‘‘ का शुभारम्भ होगा।
बैठक में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा, मुख्य सचिव डीबी गुप्ता, अति. मुख्य सचिव गृह राजीव स्वरूप, अति. मुख्य सचिव उद्योग सुबोध अग्रवाल, अति. मुख्य सचिव सार्वजनिक निर्माण वीनू गुप्ता, अति. मुख्य सचिव वित्त निरंजन आर्य, सूचना एवं जनसम्पर्क आयुक्त महेन्द्र सोनी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।
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